मथुरा में श्रीकृष्ण जन्मभूमि को मुक्त कराने को लेकर लड़ाई कोर्ट में पहुंच चुकी है. कोर्ट में श्रीकृष्ण जन्मभूमि और शाही ईदगाह को लेकर बहस हो रही है.
वहीं श्रीकृष्ण जन्मभूमि को मुक्त कराने के लिए लगातार बैठकों का भी दौर चल रहा है. इस बार एक बड़ी धर्म संसद मथुरा के वृंदावन में 21 नवंबर को आयोजित होने जा रही है, जिसमें हजारों की संख्या में संतों के शामिल होने की संभावना जताई जा रही है. और तो और ब्रज के प्रमुख संत, बड़े-बड़े महामंडलेश्वर भी इस बैठक में मौजूद होंगे.
‘श्रीकृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास समिति’ द्वारा आयोजित की जाने वाली यह धर्म संसद कल यानि 21 नवंबर को वृंदावन के एक स्थानीय सभागार में आयोजित हो रही है, जिसमें कई अहम मुद्दे भी रखे जाएंगे. इस धर्म संसद में सबसे पहला मुद्दा श्रीकृष्ण जन्मभूमि को मुक्त कराने को लेकर होगा. इस पर गहन मंथन किया जाएगा कि किस प्रकार श्रीकृष्ण जन्मभूमि की लड़ाई को आगे बढ़ाया जाए.
गौ माता का मुद्दा भी धर्म संसद में उठाया जाएगा
वहीं धर्म संसद में दूसरा मुद्दा गौ माता का होगा. जी हां, वही गौ माता जिनको आज जगह-जगह आवारा पशु घोषित कर दिया गया है. लोग उन्हें खुला छोड़ दे रहे हैं. यही नहीं गोमांस तक बेचा जा रहा है. गाय को ‘राष्ट्र माता’ घोषित करने को लेकर भी इस धर्म संसद में मंथन होगा. सरकार से मांग की जाएगी कि गाय को राष्ट्र गौ माता का दर्जा दिया जाए, जो की सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण है.
श्रीकृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास समिति आयोजित कर रही बैठक
वहीं इस बारे में अधिक जानकारी देते हुए श्रीकृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास के अध्यक्ष पंडित दिनेश शर्मा ‘फलाहारी’ ने बताया कि कल होने वाली इस बैठक में विशाल संतों की टोली मौजूद रहेगी. इस धर्म संसद में श्रीकृष्ण जन्मभूमि सबसे अहम मुद्दा होगा, क्योंकि भगवान श्रीकृष्ण हमारे आराध्य हैं. हमारे आराध्य की जगह पर बनी शाही ईदगाह मस्जिद हमें बिल्कुल बर्दाश्त नहीं है.