पुणे के पोर्श कार हादसे में युवक-युवती की मौत मामले में कोर्ट ने आरोपी नाबालिग को घटना के 15 घंटे अंदर ही जमानत दे दी। हादसा 18 मई को हुआ था। आरोपी पुणे के नामी बिल्डर का बेटा बताया जा रहा है। वह 17 साल 8 महीने का है।
नाबालिग के वकील प्रशांत पाटिल ने कहा कि कोर्ट ने शर्त रखी है कि लड़के को 15 दिन के लिए यरवदा में ट्रैफिक पुलिस के साथ काम करना होगा। दुर्घटनाओं पर एक निबंध लिखना होगा। शराब पीने की आदत का इलाज और काउंसिलिंग करानी होगी।
मामले को लेकर मंगलवार सुबह पुलिस ने नाबालिग के पिता और बिल्डर विशाल अग्रवाल को औरंगाबाद से हिरासत में ले लिया। घटना के बाद से वह फरार चल रहा था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, उसे आज कोर्ट में पेश किया जाएगा।
बता दें, इस हादसे में मध्य प्रदेश के रहने वाले दो युवा इंजीनियर अनीश और अश्विनी की मौत हो गई। ये कार पुणे के एक अमीर बिल्डर का 17 साल आठ महीने का नाबालिग बेटा चला रहा था। हादसे के बाद उसने भागने की कोशिश की, लेकिन लोगों ने उसे पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया. हालांकि महज 15 घंटे के भीतर आरोपी लड़के को जमानत मिल गई।
जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड ने आरोपी को सड़क हादसे पर निबंध लिखने और यरवदा पुलिस के साथ 15 दिन काम करने की सजा सुनाई है। अब सवाल उठता है कि पुणे में नशे में धुत बेलगाम रफ्तार से दो युवाओं की जान लेने वाला सिर्फ निबंध लिखकर बच जाएगा और पीड़ित परिवार जीवनभर के लिए दर्द सहेगा?
वहीं मामले में तूल पकड़ता देख पुणे कार दुर्घटना केस में नाबालिग के पिता विशाल अग्रवाल को भी गिरफ्तार कर लिया गया है। छत्रपति संभाजीनगर (औरंगाबाद) से उनकी गिरफ्तारी हुई है। वहीं नाबालिग को शराब परोसने वाले रेस्तरां के मालिक और मैनेजर को भी गिरफ्तार किया गया है। इन तीनों को गिरफ्तारी के बाद 24 मई तक की पुलिस कस्टडी में भेजा गया है।
नाबालिग के पिता विशाल अग्रवाल एक नामी बिल्डर हैं. 19 मई की रात को शराब के नशे में नाबालिग ने अपनी पोर्शे कार से बाइक सवार 2 सॉफ्टवेयर इंजीनियरों को टक्कर मारी थी। उनकी मौके पर ही मौत हो गई थी। 12वीं की परीक्षा पास होने पर नाबालिग अपने दोस्तों के साथ पार्टी करके वापस लौट रहा था इस दौरान ये हादसा हुआ. नाबालिग नशे में होने की वजह से 200 की रफ्तार से गाड़ी चला रहा था।
सीएम ने मामले में कड़ी कार्रवाई के दिए निर्देश
बता दें कि पुणे कार हादसे को लेकर मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। देवेंद्र फडणवीस ने मामले को लेकर कहा कि उनकी तरफ से अधिकारियों के साथ बैठक कर पूछा गया है कि अब तक मामले में क्या कार्रवाई की गई है। वहीं नाबालिग को जुवेनाइल बोर्ड की तरफ से 15 घंटे के अंदर ही जमानत दे दी गई थी. पुलिस आरोपी के खिलाफ सेशन कोर्ट में अपील कर सकती है।