उत्तराखंड : 'रामनगर' में मस्जिद, मदरसे और मकबरे बनाकर किया अतिक्रमण! बना दिया 'रहमतनगर'! दर्ज हुई एफआईआर

उत्तराखंड : ‘रामनगर’ में मस्जिद, मदरसे और मकबरे बनाकर किया अतिक्रमण! बना दिया ‘रहमतनगर’! दर्ज हुई एफआईआर

सरकारी जमीन पर अवैध कब्जे के खिलाफ उत्तराखंड सरकार का अभियान जारी है। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने कॉर्बेट सिटी रामनगर के कोसी नदी किनारे जंगल की भूमि पर हो रहे अतिक्रमण और भू माफिया की सक्रियता को देखते हुए स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम (एसआईटी) गठित करने के निर्देश जारी कर दिए हैं।

सरकारी वन भूमि खुर्दबुर्द करने वाले दो बड़े भू माफिया गैंग के खिलाफ वन विभाग ने एफआईआर दर्ज करा दी है। बताया गया है कि मोहम्मद ताहिर उर्फ मुल्ले और उस्मान गैंग ने स्टांप पेपर पर वन भूमि का सौदा करके करोड़ों की भूमि बेच दी।

सोशल मीडिया पर इस तरह की खबर वायरल हो रही थी कि राम नगर को रहमत नगर बनाए जाने के षड्यंत्र रचे जा रहे हैं। खास तौर पर कोसी नदी के किनारे पुछड़ी बस्ती में बाहर से आए मुस्लिम अवैध कब्जे कर रहे हैं और यहां दस, बीस, सौ रुपये के स्टांप पेपर पर वन विभाग की जमीन को खुर्दबुर्द करने में लगे हुए हैं।

वन भूमि को अपनी भूमि बताकर ताहिर और उस्मान गैंग ने सैकड़ों लोगों को बेच डाली। इस मामले में राजनीतिक और प्रशासनिक संरक्षण होने की बाते सामने आ रही है।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने तराई पश्चिमी वन प्रभाग रामनगर वन प्रभाग क्षेत्रांतर्गत अपर कोसी आरक्षित वन क्षेत्र में कतिपय व्यक्तियों द्वारा अवैध कब्जा किए जाने की शिकायतें प्राप्त होने पर एसआईटी जांच के निर्देश दिए हैं। इस संबंध में जिला मजिस्ट्रेट नैनीताल द्वारा एसडीएम रामनगर से प्रारंभिक जांच करवाई गई थी।

एसडीएम द्वारा दी गई रिपोर्ट के आधार पर जिला मजिस्ट्रेट, नैनीताल द्वारा शासन को आख्या उपलब्ध कराई गई। इसी आख्या के क्रम में वन भूमि/राजस्व भूमि पर अवैध कब्जा किये जाने, स्टाम्प पेपरों के माध्यम से राजकीय भूमि का क्रय-विक्रय किये जाने तथा प्रकरण में आर्थिक अपराध सहित अन्य अपराध भी सम्मिलित होने की संदिग्धता के दृष्टिगत प्रकरण में विशेष जांच दल (S.I.T.) से जांच कराये जाने के संबंध में सीएम पुष्कर सिंह धामी ने निर्देश दिए हैं।

उधर वन विभाग के तराई प्रश्चिमी फॉरेस्ट रेंज के डीएफओ प्रकाश आर्य के निर्देश पर रेंजर जितेंद्र प्रसाद डिमरी ने पुलिस कोतवाली में मोहम्मद ताहिर, उसके दो अन्य साथियों अजमल और फईम अहमद के खिलाफ मामला दर्ज करवाया। रिपोर्ट में उस्मान गैंग के सदस्य धीरेन्द्र और कमला देवी का नाम भी है।

बताया जा रहा है कि आरोपियों ने अतिक्रमण कर नदी किनारे मस्जिद मदरसे और मजारें भी बना दी हैं। इनकी आड़ लेकर कब्जे कराए गए फिर उन कब्जों के सौदे कर दिए गए । कोतवाल अरुण सैनी ने एफआईआर दर्ज कर जांच करने की पुष्टि की। उन्होंने बताया कि आरोपियों के खिलाफ 420,467,468,471 धाराओं में मामला दर्ज कर लिया है।

जानकारी के अनुसार इनके खिलाफ वन विभाग ने पर्याप्त सबूत जुटा कर पुलिस को दिए हैं और कहा है कि सरकार की वन भूमि को अपना बता कर इनके द्वारा लोगों को बेची गई है। साक्ष्यों के आधार पर इन भू माफिया पर प्रशासन गैंगस्टर एक्ट लगाने की तैयारी भी कर रहा है। इनके द्वारा बनाई गई संपत्तियों का ब्यौरा भी खंगाला जा रहा है।

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