मोदी सरकार की विदेशी नीति: एक नया भारत
नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने 2014 में सत्ता में आने के बाद से विदेश नीति में एक नया दृष्टिकोण अपनाया है। यह नीति आत्मनिर्भरता, रणनीतिक स्वायत्तता और वैश्विक नेतृत्व की भावना पर आधारित है।
नीति के मुख्य पहलू:
पड़ोसी देशों पर ध्यान: मोदी सरकार ने पड़ोसी देशों के साथ संबंधों को मजबूत करने पर विशेष ध्यान दिया है। ‘नेबरहुड फर्स्ट’ नीति के तहत, भारत ने अपने पड़ोसियों के साथ व्यापार, निवेश और कनेक्टिविटी को बढ़ावा देने के लिए कई पहल की हैं।
रणनीतिक साझेदारी: भारत ने अमेरिका, जापान, ऑस्ट्रेलिया और फ्रांस जैसे देशों के साथ रणनीतिक साझेदारी को मजबूत किया है। यह चीन के बढ़ते प्रभाव को संतुलित करने और भारत के रणनीतिक हितों को सुरक्षित रखने के लिए किया गया है।
वैश्विक मंचों पर सक्रियता: भारत ने वैश्विक मंचों जैसे कि G20, BRICS और संयुक्त राष्ट्र में अपनी सक्रियता बढ़ाई है। भारत ने जलवायु परिवर्तन, आतंकवाद और विकास जैसे मुद्दों पर वैश्विक नेतृत्व की भूमिका निभाने की कोशिश की है।
नीति की सफलताएं:
पड़ोसी देशों के साथ संबंधों में सुधार: भारत ने अपने पड़ोसी देशों के साथ संबंधों में महत्वपूर्ण सुधार किया है। बांग्लादेश, श्रीलंका और नेपाल जैसे देशों के साथ संबंधों में मजबूती आई है।
रणनीतिक साझेदारी का विस्तार: भारत ने अमेरिका, जापान, ऑस्ट्रेलिया और फ्रांस जैसे देशों के साथ रणनीतिक साझेदारी का विस्तार किया है। भारत-अमेरिका रणनीतिक साझेदारी आज दुनिया की सबसे महत्वपूर्ण रणनीतिक साझेदारियों में से एक है।
वैश्विक मंचों पर बढ़ती सक्रियता: भारत ने वैश्विक मंचों पर अपनी सक्रियता बढ़ाई है और जलवायु परिवर्तन, आतंकवाद और विकास जैसे मुद्दों पर वैश्विक नेतृत्व की भूमिका निभाई है।
नीति की चुनौतियां:
चीन का बढ़ता प्रभाव: चीन भारत के लिए एक बड़ी चुनौती है। चीन भारत के पड़ोसी देशों में अपनी उपस्थिति बढ़ा रहा है और भारत के रणनीतिक हितों के लिए खतरा पैदा कर रहा है।
आतंकवाद: आतंकवाद भारत के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई है। पाकिस्तान से प्रायोजित आतंकवाद भारत के लिए एक गंभीर खतरा है।
वैश्विक अर्थव्यवस्था में अनिश्चितता: वैश्विक अर्थव्यवस्था में अनिश्चितता भारत के लिए एक चुनौती है। भारत को वैश्विक अर्थव्यवस्था में अपनी स्थिति को मजबूत करने की आवश्यकता है।
मोदी सरकार की विदेशी नीति ने भारत को दुनिया में एक नया चेहरा दिया है। भारत अब एक आत्मविश्वासी और मजबूत देश है जो अपनी रणनीतिक स्वायत्तता और वैश्विक नेतृत्व की भूमिका को मजबूत कर रहा है।
यह नीति अभी भी विकसित हो रही है और कई चुनौतियों का सामना कर रही है। चीन का बढ़ता प्रभाव, आतंकवाद और वैश्विक अर्थव्यवस्था में अनिश्चितता भारत के लिए बड़ी चुनौतियां हैं। भारत को इन चुनौतियों का सामना करने और अपनी विदेशी नीति के लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए रणनीतिक रूप से काम करने की आवश्यकता है।
यह नीति भारत के भविष्य के लिए महत्वपूर्ण है। यह नीति भारत को एक मजबूत और समृद्ध देश बनाने में मदद कर सकती है।